बीजेपी सांसद पुष्पेंद्र सिंह चंदेल ने संसद मे उठाई बुंदेलखंड राज्य की मांग

बीजेपी सांसद पुष्पेंद्र सिंह चंदेल ने बीते 8 फरवरी एक बार पुनः केंद्र सरकार से बुंदेलखंड राज्य की है। उन्होंने सदन मे भाषण के दरम्यान केन- बेतवा नदी गठजोड़, अन्य सिंचाई परियोजनाओं और गौवंश के संरक्षण हेतु अपनी ही पार्टी की निर्वाचित सरकार का आभार प्रकट किया है।

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Feb 9, 2024 - 11:07
Feb 9, 2024 - 17:33
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बीजेपी सांसद पुष्पेंद्र सिंह चंदेल ने संसद मे उठाई बुंदेलखंड राज्य की मांग

बाँदा / यूपी बुंदेलखंड के महोबा-हमीरपुर लोकसभा क्षेत्र से सांसद कुँवर पुष्पेंद्र सिंह चन्देल ने बीते 8 फरवरी एक बार फिर संसद मे पृथक बुंदेलखंड राज्य की मांग उठाई है। बीजेपी पार्टी से बुंदेलखंड क्षेत्र के सांसद पुष्पेंद्र सिंह ने बताया कि केंद्र और राज्य सरकार द्वारा बुन्देलखण्ड में चहुमुखी विकास किया जा रहा है। उन्होंने अपनी ही केंद्र सरकार को बतौर जनप्रतिनिधि भाषण देते हुए आभार प्रकट किया। संबोधित करते हुए सांसद ने बुन्देलखण्ड एक्सप्रेस वे निर्माण, केन बेतवा नदी गठजोड़ परियोजना, अटल भूजल योजना, हर घर नल से जल योजना, बुंदेलखंड मे चित्रकूट व झाँसी रेंज पर  डिफेंस कारीडोर, आवारा गौवंश पालन एवं पशु पालकों को मासिक आर्थिक मदद आदि विकास कार्य हुए है जिससे लोगों के जीवन में खुशहाली आ रही है। इस दौरान वे बेबाकी से बुन्देलखण्ड को अलग राज्य बनाने की जनता की मांग का  समर्थन करते नजर आये है। उन्होंने कहा कि पृथक बुंदेलखंड राज्य की मांग आजादी के वक्त से हो रही है। क्षेत्र मे इस मांग को व्यापक जन समर्थन भी है। यह मांग प्रमुख रूप से विकास पर आधारित है पृथक राज्य बन जाने से अन्य राज्यों की तरह बुन्देलखण्ड में भी और तेज आर्थिक विकास तो होगा ही साथ ही सांस्कृतिक विकास को पंख लग जाएंगे। बुंदेलखंड के खनिज से स्थानीय सम्रद्धि और देश सहित विश्व में बुंदेली संस्कृति और बोली की हनक रहेगी। यहां ध्यान देने वाली बात है कि बुंदेली भाषा अभी तक संविधान की आठवीं सूची में शामिल नही हो पाई है। सांसद कुँवर पुष्पेंद्र सिंह चन्देल ने केंद्र सरकार व प्रधानमंत्री जी से पृथक बुन्देलखण्ड राज्य बनाने के लगातार प्रयासों को मुकम्मल करने की मांग उठाई। इस मांग से बुंदेलखंड राज्य के आंदोलन से जुड़े लोग आशान्वित है। वहीं लोकसभा चुनाव के मद्देनजर प्रबल संभावना जग उठी है कि बुन्देलखण्ड राज्य जल्दी बनाया जाएगा। बतलाते चले पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने यूपी के विस्तार हिस्से से चार छोटे राज्य की बात उठाई थी जिसमें बुंदेलखंड भी शामिल था।